किन्नर हत्याकांड – जिसको दी दूसरे की हत्या की सुपारी – उसी ने उतारा मौत के घाट

(मोहन वर्मा – 9827503366)

तीन दिन पहले देवास में दिनदहाड़े हुई किन्नर किरन अंसारी की हत्या में अपराधियों तक पहुंचने में पुलिस को सफलता मिल गई है, हत्या में शामिल तीन में से दो आरोपियों को गिरफ्दार कर लिया गया है जबकि एक अभी भी फरार बताया गया है.

अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अनिल पाटीदार द्वारा मामले का खुलासा करते हुए मीडिया को दी गई जानकारी के अनुसार दिल्ली निवासी किन्नर किरण उर्फ़ अनीस पिता मोहम्मद उम्र 52 साल निवासी स्नेहलतागंज इन्दौर की आगरा बॉम्बे रोड हायवे पर ओद्योगिक क्षेत्र थाना के अन्तरगत ग्राम लोहारपिप्लिया के समीप एक टेडी बियर की दुकान पर उस समय गोली मारकर हत्या कर दी गई थी जब वह अपने भानेज के साथ कुछ खरीद रहा था.

उक्त घटना के आधार पर अपराध क्रमांक 50/18 धारा 302 में अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया और मौके पर पहुंचे पुलिस अधीक्षक अंशुमान सिंह, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अनिल पाटीदार ने सीएसपी टी एस बघेल तथा ओद्योगिक क्षेत्र थाना प्रभारी एसपीएस राघव एवं टीम को तत्परता से मामला सुलझाने के निर्देश दिए.

विवेचना में मृतक किरण अंसारी के साथ रहे उसके भानजे फिरोज अंसारी और अन्य से पूछताछ में यह तथ्य सामने आया कि रोड के दूसरे किनारे पर खडी एक लाल रंग की टवेरा से उतरकर किन्नर को गोली मारकर अपराधी देवास की और भागे है, जिसपर नाकाबंदी में उज्जैन चौराहे पर यातायात थाने के रमेश मालवीय तथा रुपेश पाठक ने लाल टवेरा एम.पी.09 बीसी 0821 को रोककर उसमे बैठे रईस पिता रफीक निवासी सारंगपुर को गिरफ्त में लिया और पूछताछ के लिए थाने लाये. रईस ने पुलिस को जानकारी दी कि उज्जैन से भूरा अंसारी बेगमबाग और उसका एक साथी अयाज खान देवास आये थे औए घटना के एक घंटे पहले किरन से देवास में काफी हाउस में मिले थे. आरोपी भूरा पिता अब्दुल लतीफ़ उम्र 20 साल को उज्जैन स्थित उसके घर से पकड़ा जाने पर उसने बताया कि किरण की उससे मुलाकात दो माह पहले हुई थी जिसकी शादी श्रीनगर के एक व्यक्ति से हुई थी और उसके द्वारा छोड़े जाने पर और विवादों के कारण किरण अंसारी उसकी हत्या करवाना चाहता था जिसके लिए 25 लाख में सुपारी देकर 2 लाख बयाना भी उसने दिया था मगर बाद में भूरा के मुकर जाने के कारण किरण अंसारी भूरा पर दबाव बना रहा था और उसे ये धमकी भी दी थी कि यदि उसने काम नही किया तो वो उसको भी मरवा डालेगा.इसलिए भूरा ने अयाज को साथ लेकर किरण को देवास बुलवाया कि जिसकी हत्या करनी है उसकी फोटो चाहिए.काफी हाउस में उससे मिलने के बाद उसका पीछा कर इस घटना को अंजाम दे दिया बाद में पुलिस की घेराबंदी देखकर भूरा और अयाज़ टवेरा से उतरकर भाग गये. अयाज अभी भी फरार है भूरा के पास से हत्या में प्रयुक्त 32 बोर की पिस्टल और टवेरा जप्त कर ली गई है भूरा अपराधी होकर उसपर महाकाल थाने उज्जैन में 302 का अपराध भी पंजीकृत है

प्रकरण को सुलझाने में पुलिस को मिली इस सफलता में श्रीराम वर्मा,पीडी यादव,विनय तिवारी, तेजकरण, तेजसिंह,संजय तंवर,खलील खान,मनोज पटेल,रवि गरोड़ा की सराहनीय भूमिका रही है.पुलिस अधीक्षक अंशुमन सिंह द्वारा टीम के सभी अधिकारीयों,कर्मचारियों को नगद पुरस्कार देने की घोषणा भी की गई है .

Post Author: Vijendra Upadhyay

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