रुद्राक्ष महोत्सव में प्रशासन रहा विफल, प्रशासन सिर्फ नेताओ की चाकरी में व्यस्त

  • मुख्यमंत्री ने भी आयोजन को लेकर मौन धारण किया

सिहोर के पंडित प्रदीप मिश्रा द्वारा कूबरेश्वर धाम में 7 दिन का रुद्राक्ष महोत्सव रखा था। जहाँ 11 लाख रुद्राक्ष वितरीत होना थे। लेकिन पहले ही दिन लाखो की संख्या में भक्त पहुँच गए। ऐसे में प्रशासन वहां की व्यवस्था बनाने में पूरी तरह विफल रहा। पंडित जी के अनुसार पहले दिन 60 से 75 हजार श्रद्धालुओं का आना अनुमानित था। लेकिन श्रद्धा और आस्था से वहां करीब 2 लाख से ऊपर की संख्या पहुच गई। हालांकि की प्रशासन यहां मदद करता तो वह आयोजन भी सफल हो जाता। लेकिन वह धार्मिक आयोजन था। राजनीतिक आयोजन होता तो सारी व्यवस्था बन जाती। नेता लोग भी अपने स्वार्थ सिद्ध करने पहुच जाते। वेसे भी प्रशासन ओर राजनेताओं को भी वहां अपना लाभ शुभ नहीं दिख रहा था। 

सरकार की इंटिलिजेंट ब्यूरोक्रेसी क्या कर रही थी, उन्हें पिछले दो दिनों से आस पास के शहरों और राज्यो से आते लोग नहीं दिखे। क्या वह यह नहीं देख पाए कि हमें इस आयोजन के लिये क्या तैयारी करना होंगी।वही भोपाल – इन्दोर पर घण्टो तक जाम बना रहा, लोकल पुलिस प्रशासन भी वह व्यवस्थित न कर पाई। आखिरकार पंडित जी को यह सब देखकर होने वाले आयोजन को निरस्त करना पड़ा।कल के इस उदाहरण से सिद्ध हो गया कि प्रशासन भी सिर्फ नेताओ के आस पास ही नाच सकती है, धार्मिक आयोजन से उनका कोई सरोकार नहीं है। वही राज्य के मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान का भी इतने बड़े आयोजन को लेकर कोई प्रतिक्रिया नही दी, जबकि सिहोर उनका गृहनगर है।यह बात भी तय है कि इस धरती पर जब जब सन्तो ने चाहा है परिवर्तन जरूर हुये है। सन्त अगर चाहे तो देश की दिशा बदल सकते है।
श्री शिवाय नमस्तुभ्यं
विजेंद्र उपाध्याय, देवास 01 मार्च 2022

Post Author: Vijendra Upadhyay