पूछता है देवास – कोरोना की तीसरी लहर में बच्चों के इलाज को लेकर प्रशासन कितना है सतर्क?

  • एक सप्ताह के अंदर 18 वर्ष से कम के करीब 33 बच्चे हुए संक्रमित
  • चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर की एक महत्वपूर्ण मीटिंग आयोजित हुई

देवास टाइम्स। कोरोना की दूसरी लहर के बाद पुरे देश में तीसरी लहर को लेकर चिंता बनी हुई है। ऐसे में देवास जिले में प्रशासन क्या तैयारियां करेगा सबकी निगाहे टिकी हुई है। देवास में पिछले एक सप्ताह के अंदर 18 वर्ष से कम के करीब 33 बच्चे कोरोना संक्रमित पाए गए हैं। मतलब हम मान सकते हैं की यह कोरोना की तीसरी लहर की दस्तक हो सकती है। जिसमें 18 से कम उम्र के बच्चे संक्रमित पाए जा रहे हैं। ऐसे में देवास प्रशासन द्वारा कम उम्र के बच्चों के लिए क्या तैयारी की जा रही है यह चिंता का विषय है। क्योंकि जब दुसरी लहर आई थी तब हर अस्पताल में बेड और ऑक्सीजन की कमी सामने आई थी। अगर यह तीसरी लहर बच्चों को ज्यादा प्रभावित करेगी तो देवास में बच्चों के इलाज के लिए बेहतर डॉक्टरों की भी कमी है। क्योंकि बच्चों को संक्रमित होना और उनमें उसके लक्षण पहचानना इतने आसान नहीं है खास कर के छोटे बच्चो में। विगत कुछ दिन पूर्व देवास में एक 5 साल का बच्चा अचानक से बीमार होगया था और उपचार न मिलने से उसकी मृत्यु हो गई थी।

ऐसे में देवास प्रशासन बच्चो के इलाज लिए क्या तैयारियां करेगा एक सवाल उठता है?

इस विषय पर आज देवास कलेक्टर सभागृह में आज चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर की एक महत्वपूर्ण मीटिंग आयोजित की गई। जिसमें कोरोना की आने वाली संभावित लहर के मद्देनजर तैयारियों का जायजा लिया गया। साथ ही देवास के चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टरों से आवश्यक सुझाव भी लिए गए मीटिंग में देवास विधायक गायत्री राजे पवार, कलेक्टर चंद्रमोली शुक्ला , सीएमएचओ एम पी शर्मा , निगमायुक्त विशाल सिंह चौहान, एडीएम महेंद्र कवचे, सहित अधिकारी और देवास के चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर मौजूद रहे।

यह देख हम यह माने की देवास प्रशासन बच्चो के इलाज के लिए पूरी तरह सतर्क है। वैसे तो सभी यही चाहेंगे की अब आगे कोई बुरा दौर न आये। फिर भी सभवत सभी तैयरिया करना जरूरी भी है और फिर उन तैयरियां का सही समय पर उपयोग होना भी जरूरी है।

Post Author: Vijendra Upadhyay