अमलतास हॉस्पिटल में लाइव सियालेंडोस्कोपी वर्कशॉप का सफल आयोजन

अमलतास हॉस्पिटल में लाइव सियालेंडोस्कोपी वर्कशॉप का सफल आयोजन

नवीनतम दूरबीन तकनीक से लार ग्रंथि की पथरी का सफल ऑपरेशन, छात्रों को मिला नया शिक्षण अनुभव

देवास — चिकित्सा क्षेत्र में तकनीकी दक्षता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए अमलतास इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेस एवं अमलतास हॉस्पिटल, देवास में लाइव सियालेंडोस्कोपी वर्कशॉप का आयोजन किया गया। जिसमे लार ग्रंथि में पाई जाने वाले अवरोधों जेसे पथरी को बिना चेहरे या गले को चीरे लगाये , दूरबीन पद्धति (Endoscopy) द्वारा सफलतापूर्वक निकाला गया । यह प्रक्रिया अब तक पारंपरिक रूप से चीरा लगाकर की जाती थी, लेकिन अब अमलतास अस्पताल ने नवीनतम तकनीक से इसे एक मिनिमली इनवेसिव प्रक्रिया बना दिया है।
मुख्य अतिथि डॉ. विशाल हंसराजानी, पूर्व एसोसिएट प्रोफेसर, इंडेक्स मेडिकल कॉलेज, इंदौर, ने लाइव डेमोंस्ट्रेशन के माध्यम से प्रतिभागियों को ऑपरेशन की बारीकियों से अवगत कराया और महत्वपूर्ण तकनीकी जानकारियाँ साझा कीं। साथ ही डॉ. विशाल हंस राजानी एवं डॉ. अभय गुप्ता द्वारा इस लाइव वर्कशॉप पर व्याख्यान दिया गया ।
संस्थान के डीन डॉ. ए.के. पिठवा की संरक्षक भूमिका तथा डॉ. अभय गुप्ता (प्रोफेसर और विभागाध्यक्ष ईएनटी विभाग) के कुशल समन्वयन में यह कार्यशाला सफलतापूर्वक आयोजित की गई। आयोजित कार्यक्रम में अमलतास विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. शरद चन्द्र वानखेड़े , नाक कान गला विभाग के विशेषज्ञ डॉ. अजय करकरे , डॉ. राहिल निदान , डॉ. कपिल मीना एवं सभी पीजी डॉक्टर्स एवं छात्र उपस्थित थे |
इस आयोजन के पीछे संस्थान के संस्थापक श्री सुरेश सिंह भदौरिया का मार्गदर्शन रहा, जिन्होंने निरंतर चिकित्सा शिक्षा को नई ऊँचाइयों तक पहुँचाने का संकल्प लिया है।
चेयरमैन श्री मयंक राज सिंह भदौरिया जी द्वारा बताया गया की “अमलतास संस्थान में हमारा सदैव प्रयास रहा है कि अमलतास में छात्रों को चिकित्सा नवीनतम तकनीकों और शिक्षा को बढ़ाने के इस तरह की कार्यशाला नियमित रूप आयोजित की जाती है । लाइव सियालेंडोस्कोपी वर्कशॉप इसी दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। मैं इस सफल आयोजन के लिए हमारी मेडिकल टीम, विशेषज्ञ डॉक्टरों और सभी विद्यार्थियों को बधाई देता हूँ और विश्वास करता हूँ कि ऐसे प्रयास भविष्य में भी जारी रहेंगे, जिससे हम समाज को बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान कर सकें

Post Author: Vijendra Upadhyay